नेशनल पैरेंट्स डे पर एण्डटीवी के कलाकारों ने अपने ऑनस्क्रीन पैरेंट्स के साथ अपने खास रिश्ते पर की बात
नेशनल पैरेंट्स डे पर एण्डटीवी के कलाकारों ने अपने ऑनस्क्रीन पैरेंट्स के साथ अपने खास रिश्ते पर की बात
* बॉलीवुड रिपोर्टर
पैरेंट्स और उनके बच्चों के बीच का रिश्ता दुनिया के सबसे मजबूत रिश्तों में से एक होता है, जिसे एण्डटीवी के सभी शोज़ में बड़ी खूबसूरती से दिखाया जाता है। नेशनल पैरेंट्स डे पर एण्डटीवी के कलाकारों ने उस खास रिश्ते पर बात की, जो उनका अपने ऑनस्क्रीन पैरेंट़्स के साथ है। इन कलाकारों में शामिल हैं- अथर्व (‘एक महानायक- डाॅ बी. आर. आम्बेडकर‘ के भीमराव), आन तिवारी (‘बाल शिव’ के बाल शिव), योगेश त्रिपाठी (‘हप्पू की उलटन पलटन’ के दरोगा हप्पू सिंह) और शुभांगी अत्रे (‘भाबीजी घर पर हैं’ की अंगूरी भाभी)।
एण्डटीवी के ‘बाल शिव‘ के बाल शिव, यानि आन तिवारी ने बताया कि, ”महासती अनुसुइया (मौली गांगुली द्वारा अभिनित) न केवल सेट्स पर मेरी बेस्ट फ्रैंड हैं, बल्कि मुझे अपने बेटे की तरह रखती हैं। वह हमेशा मेरा ध्यान रखती हैं और मेरी अच्छी देखभाल करती हैं। हमारे बीच बहुत खास रिश्ता है। एक माँ की तरह, वह हमेशा मेरी भलाई के लिये चिंतित रहती हैं और सुनिश्चित करती हैं कि मैं सेहत बनाने वाली चीजें खाऊँ। वह मेरे सारे किस्से सुनती हैं और हम मिलकर बहुत खेलते हैं। वह हमेशा मुझे दुलारती हैं और रिहर्सल में भी मेरी मदद करती हैं। हम साथ मिलकर बहुत सारा समय बिताते हैं, मजेदार रील्स बनाते हैं, तस्वीरें खींचते हैं, खाते हैं और खेलते हैं। शो के कुछ दृश्यों में जब भी वह मुझे गले लगाती हैं, मुझे लगता है कि मेरी माँ मुझे गले लगा रही है। केवल शो में नहीं, बल्कि असल जिन्दगी में भी, मैं जब भी गलती करता हूँ, वह मेरा मार्गदर्शन करती हैं और मुझे सही रास्ते पर लाती हैं। मुझे उनसे बहुत प्यार है और वह भी मुझे प्यार करती हैं।”
एण्डटीवी के ‘एक महानायक - डाॅ बी. आर. आम्बेडकर‘ के भीमराव यानि अथर्व ने कहा कि, “रामजी सकपाल सिद्धांतों और विश्वास पर चलते थे। उन्होंने हमेशा अपने बच्चों को आकांक्षा रखने और अपने सपनों का पीछा करने के लिये प्रोत्साहित किया। बाबासाहेब के जीवन को आकार देने में उनकी प्रमुख भूमिका रही। वह बाबासाहेब के सबसे कठिन हालातों में ताकत का स्तंभ बनकर खड़े रहे। अपने मूल मूल्यों और शिक्षाओं पर वह हमेशा अडिग रहे। अपने पिता के मार्गदर्शन में डाॅ बी. आर. आम्बेडकर ने दुनिया में अपनी छाप छोड़ने का ऐतिहासिक सफर शुरू किया था। हमें बाबासाहेब के पीछे खड़े उनके पिता को धन्यवाद देना चाहिये, जिन्होंने अपने बेटे को हमारे जमाने के एक प्रेरक नेता के रूप में विकसित किया। रामजी बाबासाहब के लिये न केवल एक सपोर्ट सिस्टम थे, बल्कि उनके पूरे परिवार का आधार थे, जिसने सभी को एकजुट रखा।“
एण्डटीवी के ‘हप्पू की उलटन पलटन‘ के दरोगा हप्पू सिंह, यानि योगेश त्रिपाठी ने कहा कि, ”हिमानी जी (कटोरी अम्मा) मुझे अब तक मिले सबसे प्यारे लोगों में से एक हैं। पर्दे पर और पर्दे की पीछे हमारा बेहतरीन रिश्ता और केमिस्ट्री है। हमारे शो में कटोरी अम्मा फिक्र और प्यार करने वाली महिला है, जिसे अपने बच्चों हप्पू और उसकी पत्नी राजेश (कामना पाठक) और पोते-पोतियों के साथ समय बिताना अच्छा लगता है। मेरी कटोरी अम्मा थोड़ी कठोर हो सकती हैं, क्योंकि परिवार के लिये उनके कुछ नियम हैं, लेकिन उनके बच्चे ही उनकी जिन्दगी हैं और इस तरह वह एक आदर्श माँ और दादी माँ हैं। और पर्दे के पीछे भी हिमानी जी का स्वभाव अलग नहीं है। वह एक बेहतरीन इंसान और कुक हैं, जो हर बार मौका मिलने पर मेरे लिये दाल बाटी चूरमा बनाती हैं, जिसे हम लंच के दौरान खाते हैं। हिमानी जी के साथ मैं कई मुद्दों पर बात कर सकता हूँ। हमारा रिश्ता अपने आप में अनोखा है, क्योंकि एक-दूसरे से हमें बहुत लगाव है और हम एक-दूसरे की बहुत फिक्र करते हैं। इसमें कोई आश्चर्य नहीं है कि वह मेरे लिये एक पैरेंट जैसी हैं।“
एण्डटीवी के ‘भाबीजी घर पर हैं‘ की अंगूरी भाबी, यानि शुभांगी अत्रे ने कहा कि, ”सेट पर किसी पैरेंट, गार्जियन या मेंटर के होने से चीजें बहुत मजेदार और आसान हो जाती हैं। मेरे दादू राकेश बेदी जी (भूरे लाल) मेरे लिये पिता की तरह हैं और हमारा रिश्ता किसी की भी कल्पना से परे है। उनके जैसे पुराने और अनुभवी ऐक्टर और सीनियर आर्टिस्ट के साथ काम करने को लेकर मैं शुरूआत में थोड़ी नर्वस थी। लेकिन उन्होंने मुझे सहजता का अनुभव कराया और हम बिना परेशानी के घुल-मिल गये। वह पर्दे पर और पर्दे के पीछे भी हमेशा एक खुशनुमा, स्वच्छंद और तड़क-भड़क वाले इंसान रहे हैं, लेकिन काफी अनुशासित भी हैं। उनके किरदार, भूरे लाल के साथ कोई दखलअंदाजी नहीं कर सकता। मैं उनकी फिल्में और शोज देखते-देखते बड़ी हुई हूँ, जिन्होंने मुझे बहुत प्रेरित किया है। वह जब भी सेट पर होते हैं, मैं अपने पिता की तरह उनकी देखभाल करती हूँ। हम साथ में खाते हैं, रिहर्स करते हैं और गप्पे लड़ाते हैं। मेरे असली पिता की तरह, राकेश जी भी मेरी कुकिंग को पसंद करते हैं और यह बात मुझे बहुत अच्छी लगती है। राकेश जी के साथ स्क्रीन शेयर करने पर मुझे गर्व होता है और मैं इस मौके के लिये शुक्रगुजार हूँ। सभी को पैरेंट्स डे की शुभकामनाएँ।“
_देखिये ‘बाल शिव’ रात 8ः00 बजे, ‘एक महानायक- डाॅ बी. आर. आम्बेडकर’ रात 8ः30 बजे, ‘हप्पू की उलटन पलटन’ रात 10ः00 बजे और ‘भाबीजी घर पर हैं’ रात 10ः30 बजे, प्रसारण हर सोमवार से शुक्रवार केवल एण्डटीवी पर !