वागले हाउस की चाबियां पाने के लिए अथर्व को खुद को साबित करना होगा  

वागले हाउस की चाबियां पाने के लिए अथर्व को खुद को साबित करना होगा   

सोनी सब पर ‘वागले की दुनिया’ : वागले हाउस की चाबियां पाने के लिए अथर्व को खुद को साबित करना होगा

 

* बॉलीवुड रिपोर्टर

   सोनी सब का शो ‘वागले की दुनिया’ दर्शकों को काफी पसंद आया है और इसे प्रासंगिक वर्णन के लिये खूब तारीफें मिली हैं। कल्‍ट क्‍लासिक के नये रूप को भी दर्शकों ने उतना ही पसंद किया है, क्‍योंकि उसमें एक मध्‍यम-वर्गीय परिवार की रोजमर्रा की जिन्‍दगी और जिन्‍दगी के उतार-चढ़ाव दिखाए गए हैं।

 

घर की चाबी रखना, जो दिल के करीब होती है, एक सास का अपनी नई बहू को अलमारी की चाबी सौंपना, यह सब काम कई भावनाओं के प्रतीक होते हैं। यह विश्‍वास, जिम्‍मेदारी, सफलता, ताकत, आदि के प्रतीक होते हैं। ‘वागले की दुनिया’ के आने वाले एपिसोड्स में हम देखेंगे कि नन्‍हा अथर्व घर की चाबी रखने के महत्‍व को कैसे समझता है, जब उसे घर के बाहर लंबे समय तक इंतजार करना पड़ता है कि कोई आये और दरवाजा खोले। फिर वह घर की चाबियों की मांग करता है, जैसे कि सभी के पास हैं। उसके पेरेंट्स उसे चाबी देने से हिचकते हैं, लेकिन वंदना अपने उस ज्ञान को परखने का फैसला करती है, जो उसने अपनी मॉडर्न पेरेंटिंग की बुक में पढ़ा है।

 

वंदना अथर्व के लिये एक शर्त रखती है और कहती है कि उसे चाबियाँ पाने के लायक बनना होगा और खुद की काबिलियत को साबित करने के लिये जिम्‍मेदारी के पाँच काम करने होंगे। इस मिशन में अथर्व के सामने झूठ बोलकर या धोखा देकर जिम्‍मेदारियों से बचने के विकल्‍प होते हैं, लेकिन वह ऐसा नहीं करता है। आखिरकार वह जिम्‍मेदारियों को पूरा नहीं कर पाता है और सजा का इंतजार करता है। लेकिन उसके सरप्राइज के लिये वंदना के पास कुछ और ही है।

क्‍या अथर्व खुद को घर की चाबियाँ रखने के लायक साबित कर पाएगा?

    वंदना की भूमिका निभा रहीं परिवा प्रणति ने कहा, “पेरेंटिंग कोई आसान काम नहीं है, बच्‍चे कई कामों में अयोग्‍य हो सकते हैं और खीज सकते हैं, लेकिन उन्‍हें यह सब चतुराई से सिखाना पेरेंट्स के तौर पर हमारे लिये एक बड़ी जिम्‍मेदारी होती है। वंदना एक माँ के तौर पर अथर्व की नासमझ मांगों के लिये उसे डांटती नहीं है, लेकिन उसका समझाना ऐसा होता है कि अथर्व को हमेशा एक महत्‍वपूर्ण सबक मिलता है। एक जिम्‍मेदार व्‍यक्ति के रूप में बड़ा होना पहला सबक है, जो वंदना अपने बेटे को देना चाहती है।”

-ज्‍यादा जानने के लिये ‘वागले की दुनिया’ का अगला एपिसोड देखिये, हर सोमवार से शनिवार रात 9:00 बजे,सिर्फ सोनी सब पर