महिंद्रा लॉजिस्टिक्स डी एंड आई कैंडिडेट्स के कौशल संवर्धन पर जोर देगा...
महिंद्रा लॉजिस्टिक्स डी एंड आई कैंडिडेट्स के कौशल संवर्धन पर जोर देगा...
~ एलजीबीटीक्यूआईए समुदाय के लोगों के कौशल विकास और प्रशिक्षण में बहुवर्षीय निवेश का वचन
~ प्रोग्राम के तहत चालू वित्त वर्ष में 200 डी एंड आई अभ्यर्थियों के विभिन्न कौशल विकास के लिए जीटीटी फाउंडेशन के साथ सहयोग
* बिज़नेस रिपोर्टर
महिंद्रा लॉजिस्टिक्स लिमिटेड (एमएलएल), जो भारत के सबसे बड़े एकीकृत 3पीएल (थर्ड पार्टी लॉजिस्टिक्स) समाधान प्रदाताओं में से एक है, ने खुलासा किया कि चालू वित्त वर्ष के लिए विविधता भर्ती अनुपात 15% है। इस प्रकार, इसने विविध और समावेशी (डी एंड आई) एजेंडा के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दिखाई है। कंपनी ने देश भर में विभिन्न कौशलों में 200 व्यक्तियों को प्रशिक्षित करने के लिए जीटीटी फाउंडेशन के साथ अपने सहयोग की भी घोषणा की, जिससे अप्रयुक्त टैलेंट पूलों का लाभ उठाकर डी एंड आई हायरिंग को मजबूत किया जा सके, नियुक्ति बढ़ाई जा सके और इससे भी महत्वपूर्ण बात यह कि भारत के जनसांख्यिकीय लाभांश की एकता की भावना को अपनाया जा सके।
इस गर्वित महीने में, कंपनी को गर्व है कि यह अपने और अपने व्यावसायिक भागीदारों के यहाँ विभिन्न परिचालन कार्यों के लिए एलजीबीटीक्यूआईए समुदाय के लोगों की भर्ती करती रही है। 200 व्यक्तियों को प्रशिक्षित करने के लिए जीटीटी फाउंडेशन के साथ एमएलएल के सहयोग में एलजीबीटीक्यूआईए समुदाय के व्यक्ति शामिल हैं। कंपनी, उक्त समुदाय के लोगों को डिजिटल मार्केटिंग, डेटा एंट्री, टेली कॉलिंग, उनके सॉफ्ट स्किल को बढ़ाने जैसे कौशल विकसित करने के लिए प्रशिक्षित करेगी।
महिंद्रा लॉजिस्टिक्स लिमिटेड के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी, श्री रामप्रवीन स्वामीनाथन ने बताया, "हम एलजीबीटीक्यूआईए समुदाय, विकलांग व्यक्तियों और सामान्य पृष्ठभूमि की महिलाओं के कौशल विकास और प्रशिक्षण में बहु-वर्षीय निवेश के लिए प्रतिबद्ध हैं। जीटीटी फाउंडेशन के साथ हमारा सहयोग 200 लोगों को प्रशिक्षित करने की इस प्रतिबद्धता की दिशा में पहला कदम है। हम अपने कर्मचारियों, सहयोगियों, व्यापार भागीदारों और ग्राहकों के माध्यम से इन समुदायों के भीतर प्रतिभा बढ़ाने और विभिन्न कौशल विकसित करने की अपनी नीतियों के माध्यम से विविधता को प्रोत्साहित करना और महत्व देना जारी रखेंगे।”
जीटीटी फाउंडेशन की ट्रस्टी, डॉ उमा गणेश ने कहा, "जीटीटी फाउंडेशन वंचित समुदायों के साथ काम कर रहा है ताकि उन्हें रोजगार योग्य बनने और स्थायी आजीविका हासिल करने में मदद मिल सके। इस संदर्भ में, हम महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, राजस्थान, तेलंगाना, हरियाणा, तमिलनाडु, केरल और आंध्र प्रदेश में एलजीबीटीक्यू समुदाय, विकलांग व्यक्तियों और सामान्य पृष्ठभूमि की महिलाओं के लिए रोजगार प्रशिक्षण देने के लिए महिंद्रा लॉजिस्टिक्स के साथ साझेदारी करके खुश हैं। हम इस समर्थन के लिए महिंद्रा लॉजिस्टिक्स को धन्यवाद देते हैं जिससे 200 परिवारों के जीवन में बदलाव लाया जा सकेगा।"
अपने पांच साल की कार्य-योजना के अनुरूप, कंपनी ने सक्रिय रूप से विकलांगों को नियुक्त किया है और कर्मचारियों के लिए संवेदीकरण सत्र आयोजित किया है और विकलांग लोगों (पीडब्ल्यूडी) को काम पर रखने की तत्परता का मूल्यांकन करने के लिए बुनियादी ढांचे का ऑडिट किया है और उनके संचालन में आसानी के लिए तदनुसार कार्य किया है। वी.ई.ई.आर (वेटरन इम्पॉयमेंट, इंगेजमेंट एंड रिटेंशन) प्रोग्राम के तहत पूर्व सेवाकर्मियों के 3 बैचों में, एमएलएल ने कर्नल रैंक के जेसीओ/एनसीओ, अधिकारियों और पूर्व-सेवाकर्मियों को नियुक्त किया है।
लिंग विविधता विशेष तौर पर लॉजिस्टिक्स क्षेत्र के लिए एक चुनौती रही है। इस अंतर को पाटने के लिए, महिंद्रा लॉजिस्टिक्स 'उड़ान' नामक एक विशेष पहल शुरू करने वाले क्षेत्र के अग्रणियों में से एक है। यह पहल सभी स्तरों पर महिलाओं के लिए दूसरा कॅरियर (वापसी) कार्यक्रम और दूसरा कॅरियर इंटर्नशिप कार्यक्रम है। उड़ान कार्यक्रम के तहत, ऐसी महिलाओं को इंटर्नशिप के अवसर प्रदान किए गए, जिनमें से कुछ को पूर्णकालिक रोजगार प्रदान किया गया है।