कुरार विलेज के निवासियों पर एसआरए की नोटिस का संकट : चट्टान की तरह बीच में खड़े हुए सांसद गोपाल शेट्टी !
कुरार विलेज के निवासियों पर एसआरए की नोटिस का संकट : चट्टान की तरह बीच में खड़े हुए सांसद गोपाल शेट्टी !
_ सांसद ने एसआरए के मुख्य कार्यकारी अधिकारी को लिखा पत्र
_ गणपति बाप्पा से निवासियों की प्रार्थना, मकान की रुके तोड़फोड़ !
* अमित मिश्रा
मालाड : विघ्नहर्ता श्री गणेश के आगमन के पावन उत्सव के ऐन मौके पर मुंबई में मालाड पूर्व के कुरार विलेज स्थित माउली विकासक अंतर्गत किए जानेवाले निर्माण के दौरान चाल के प्रथम फ्लोर पर वर्ष 1995 के पूर्व से रहने वाले कुल आठ लोगों को झोपड़पट्टी विकास प्राधिकरण ( एसआरए) द्वारा दिए गए विघ्न और थमाई गई निष्कासन नोटिस से परेशान होकर इन लोगों ने आखिरी उम्मीद के रूप में मदद के लिए उत्तर मुंबई के लोकप्रिय सांसद गोपाल शेट्टी से गुहार लगाई है। बता दें कि इस वक्त संसद का अति महत्वपूर्ण सत्र चल रहा है और उसकी महत्ता देखते हुए अपने घर में गणेशोत्सव के आयोजन के बावजूद सांसद गोपाल शेट्टी आयोजन में शामिल होना छोड़कर संसद सत्र में शामिल होने के लिए दिल्ली में हैं। मालाड पूर्व के कुल आठ निवासियों को एसआरए की नोटिस मिली तो सबके होश उड़ गए। तोड़फोड़ रोकने के लिए जहां उन लोगों ने भगवान गणपति बाप्पा की शरण में जाकर प्रार्थना शुरू की वहीं अपना दर्द अपने लाड़ले सांसद गोपाल शेट्टी को बताना उन सभी ने जरूरी समझा। इन असहाय लोगों ने जब सांसद गोपाल शेट्टी से इस मामले में मदद मांगी तो सांसद शेट्टी ने विषय की गंभीरता देखते हुए तत्काल मामले को संज्ञान में लिया। उन्होंने एसआरए के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सतीश लोखंडे को अपने दिल्ली से मुंबई लौटने तक कुरार विलेज की माउली हाउसिंग सोसाइटी के आठों निवासियों पर कोई कार्रवाई ना करने और इस संदर्भ में एसआरए के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को निर्देशित भी करने का आग्रह किया ।
सांसद गोपाल शेट्टी ने पत्र में स्पष्ट लिखा है कि इन निवासियों को निष्कासन नोटिस देने संबंधी जानकारी पाते ही उन्हें आश्चर्य हुआ है।
पत्र में सांसद शेट्टी ने लिखा है कि आप यह भी जानते हैं कि 1995 तक के पहली मंजिल के निवासी लोगों को जिनके घर निजी भूमि पर बने हैं उन्हें पक्के घर दिलाने के लिए मैं दृढ़ता से संघर्ष करता रहा हूं जो मान्यता मिलने के बेहद करीब भी है । जब यह लगभग सार्वभौमिक रूप से स्वीकृत है, मुझे यह समझ में नहीं आ रहा है कि आपका प्राधिकरण प्रथम तल के मकान धारकों को नोटिस क्यों भेज रहा है, जबकि डेवलपर्स के लिए 2000 से 2011 के बीच के पात्र लोगों को किराया देकर स्थानांतरित करने का प्रावधान तक है ।
पत्र के अंत में सांसद शेट्टी ने लिखा है कि "जैसा कि आप जानते हैं, नए कानून में एफएसआई को बढ़ाए बिना वर्तमान नीति अंतर्गत घनत्व के अनुसार सभी झुग्गीवासियों को शामिल करने पर (2011 तक के ) एक ही योजना में लोगों को जगह देने का प्रावधान है। आपको इसे अपने विभाग के वरिष्ठ उच्च अधिकारियों के ध्यान में लाना चाहिए । "